पंचतंत्र में इसके रचयिता श्री विष्णु शर्मा ने राजकुमारों को राजनीति-विशारद बनाने के लिए अनेक पशु-पक्षियों को माध्यम बनाकर नीति की कथाएं कहीं हैं। वे कथाएं और उनके बीच में आयी हुई सूक्तियां आज के इस आपा-धापी के युग में निश्चय ही मानव के लिए उपयोगी हैं। कोमलपति बालकों के लिए ये कहानियां एक ओर मनोरंजन और कौतूहल की सामग्री प्रस्तुत करती हैं और दूसरी ओर उन्हें नीति-निपुण, चुस्त मानव एवं प्रबुद्ध नागरिक बनाने में सहायता करती है। अशोक कौशिक द्वारा लिखित बालकों के लिए ही नहीं वयस्क एवं प्रौढ़ व्यक्तियों के लिए भी ये कहानियां समान रूप से उपयोगी एवं संग्रहणीय है।
पंचतंत्र में इसके रचयिता श्री विष्णु शर्मा ने राजकुमारों को राजनीति-विशारद बनाने के लिए अनेक पशु-पक्षियों को माध्यम बनाकर नीति की कथाएं कहीं हैं। वे कथाएं और उनके बीच में आयी हुई सूक्तियां आज के इस आपा-धापी के युग में निश्चय ही मानव के लिए उपयोगी हैं। कोमलपति बालकों के लिए ये कहानियां एक ओर मनोरंजन और कौतूहल की सामग्री प्रस्तुत करती हैं और दूसरी ओर उन्हें नीति-निपुण, चुस्त मानव एवं प्रबुद्ध नागरिक बनाने में सहायता करती है। अशोक कौशिक द्वारा लिखित बालकों के लिए ही नहीं वयस्क एवं प्रौढ़ व्यक्तियों के लिए भी ये कहानियां समान रूप से उपयोगी एवं संग्रहणीय है।